यहां बाजार सहित अन्य ग्रामीण क्षेत्रों में कुकिंग गैस सिलेंडरों का भारी संकट बना है। इसका कारण क्षेत्र में रसोई गैस की नियमित रूप से आपूर्ति न हो पाना है। इससे आये दिन उपभोक्ता खासे परेशान हैं। हालत यह है कि कई इलाकों में तो करीब तीन महीनों से उपभोक्ताओं को सिलेंडर नहीं मिल पाये हैं।
विकासखंड में घरेलू गैस सिलेंडरों की आपूर्ति कुमाऊं मंडल विकास निगम की रानीखेत एजेंसी के माध्यम से होती है। यहां बाजार क्षेत्र में महीने भर से एजेंसी का गैस वाहन नहीं पहुंचा है। जबकि अन्य भटकोट, भगोती, पटलगांव, जेठुवा, कलरों व खनुली सहित अन्य ग्रामीण इलाकों में भी कई महीनों से सप्लाई न पहुंच पाने से सिलेंडरों की जबर्दस्त किल्लत चल रही है। नतीजतन अनेक परिवारों का तो चूल्हा जल पाना भी मुश्किल हो गया है।
लकड़ी उपलब्ध न होने से अब बाजार क्षेत्र ही नहीं गांवों के लोग भी भोजन बनाने के लिये पूरी तरह गैस पर ही निर्भर हैं। समय पर गैस सिलेंडर न मिलने से परेशानी का बढ़ना स्वाभाविक है। यदि कभी-कभार गैस वाहन पहुंच भी रहा है तो मांग के अनुरूप सिलेंडर नहीं मिल पा रहे हैं। इससे क्षेत्र के उपभोक्ता बेहद परेशान हैं। गैस सुलभ न हो पाने से कई घरों में चूल्हा नहीं जल पा रहे हैं। गैस वाहन पहुंचने की खबर मिलते ही यहां बाजार में सुबह से ही लाइन लग जा रही है, लेकिन शाम तक वाहन के न आने पर उपभोक्ता शाम को निराश घरों को लौट जा रहे हैं। बार बार मांग के बाद भी व्यवस्था में सुधार नहीं हो पा रहा है। उपभोक्ताओं ने शीघ्र चौखुटिया में स्वीकृत गैस डिपो खोलने की मांग की है।
1 comment:
Mubarak ho Pandey ji!!
Naya blog mubarak ho
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